गंगोत्री धाम में तीर्थ पुरोहितों के बाद व्यापार मंडल गंगोत्री के व्यापारियों ने भी शासन-प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन शुरू कर दिय है। आक्रोशित गंगोत्री धाम के व्यपारियों ने पूरा बाजार बंद करवा दिया। व्यापार मंडल अध्यक्ष इंद्रदेव सेमवाल ने कहा प्रशासन रात्रि में यात्री भेज रहा। उस समय उन्हें कोई सुविधा नहीं मिल पा रही। इसलिए ज़ब तक स्थिति नहीं सुधरती है, तब तक बाजार बंद रहेगा।
गंगोत्री धाम के तीर्थ पुरोहितों ने बीते सोमवार से चारधाम यात्रियों के धाम न पहुंचने पर नाराजगी जताई। गंगोत्री धाम के तीर्थ पुरोहितों ने गंगोत्री मंदिर के सामने शासन प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। वहीं चारधाम यात्रा को सुगम बनाने की मांग की। गंगा पुरोहित सभा के अध्यक्ष संजीव सेमवाल ने कहा कि शासन प्रशासन की आधी अधूरी तैयारियों के कारण यात्री करीब 22 घंटे जाम में फंसे रहे। यात्रियों को सड़कों पर रात गुज़ारने को मजबूर होना पड़ रहा है। आज गंगा सप्तमी का दिन है, लेकिन प्रशासन की लापरवाही के कारण पूरा गंगोत्री धाम खाली पड़ा है। सड़कों की बुरी स्थिति के कारण जाम लग रहा है। प्रशासन यात्रियों के लिए कोई व्यवस्था नहीं कर पा रहा है। जिस कारण यात्री ना ही यमुनोत्री धाम के दर्शन कर पा रहा है और ना ही वह गंगोत्री धाम के दर्शन कर पा रहा है। इसलिए अगर ऐसी ही अव्यवस्था बनी रही, तो पुरोहितों को उग्र आंदोलन के लिए बाध्य होना पड़ेगा। यमुनोत्री से लेकर गंगोत्री हाईवे पर जगह-जगह गेट सिस्टम के चलते यात्री हलकान हैं। गंगोत्री हाईवे पर गंगनानी और हर्षिल के बीच सोनगाड में सुबह से जाम में फंसे यात्रियों ने उत्तराखंड हाय हाय के नारे लगाए। शाम को हीना में फंसे यात्रियों ने भी हंगामा किया। उधर, यमुनोत्री धाम के मुख्य पड़ाव ब्रह्मखाल में भी यात्रियों ने हंगामा काटा। चारधाम यात्रा को अभी चार ही दिन हुए हैं और चार दिन में ही सरकार सहित शासन और प्रशासन को यात्रा अव्यवस्थाओं के चलते यात्रियों के विरोध प्रदर्शन का सामना करना पड़ रहा है। स्थिति अभी भी प्रशासन और पुलिस के कंट्रोल से बाहर है। जनपद मुख्यालय से लेकर दोनों घाटियों गंगा व यमुना में यात्री परेशान है।