ज्ञानवापी विवाद से जुड़े मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट में हुई सुनवाई, सीलबंद लिफाफे में संस्कृति मंत्रालय ने दाखिल किया हलफनामा

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31/10/2022, प्रयागराज. देश के बहुचर्चित ज्ञानवापी विवाद से जुड़े मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट में सुनवाई हुई, जहां संस्कृति मंत्रालय ने सीलबंद लिफाफे में अपना हलफनामा दाखिल किया. हाई कोर्ट में एएसआई के डायरेक्टर जनरल ने व्यक्तिगत हलफनामा पेश किया. गौरतलब है कि कोर्ट ने ज्ञानवापी का एसआई से सर्वेक्षण कराए जाने के मामले में हलफनामा मांगा था. हाई कोर्ट ने पक्षकारों को जवाब दाखिल करने के लिए 10 दिन का समय दिया है. अब इस मामले की अगली सुनवाई 11 नवंबर को होगी.

सोमवार को मामले की सुनवाई जस्टिस प्रकाश पाडिया की सिंगल बेंच में हुई. हाई कोर्ट ने जवाब दाखिल न करने पर संस्कृति मंत्रालय पर 10 हजार का जुर्माना लगाया था. गौरतलब है कि ज्ञानवापी विवाद से जुड़ी हुई पांच अर्जियों पर इलाहाबाद हाई कोर्ट में सुनवाई चल रही है. इनमें से तीन अर्जियों पर 12 सितंबर को सुनवाई पूरी हो चुकी है. सर्वेक्षण आदेश के खिलाफ दाखिल दो अर्जियों पर ही अब आगे सुनवाई होनी है. इनमें एक अर्जी ज्ञानवापी मस्जिद की इंतजामिया कमेटी और दूसरी यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड की तरफ से दाखिल की गई है.

निचली अदालत के आदेश पर हाई कोर्ट की रोक
हाई कोर्ट को मुख्य रूप से यह तय करना है कि वाराणसी की अदालत में 1991 में दाखिल किए गए मुकदमे की सुनवाई हो सकती है या नहीं. स्वयंभू भगवान विश्वेश्वर विराजमान के वाद मित्रों ने 1991 में वाराणसी की अदालत में मुकदमा दाखिल किया था. पिछले साल वाराणसी की जिला अदालत ने विवादित परिसर का एएसआई से सर्वेक्षण कराए जाने का आदेश दिया था. एएसआई से सर्वेक्षण कराए जाने के निचली अदालत के आदेश पर हाई कोर्ट ने फिलहाल रोक लगा रखी है.


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